गुरुवार

समाजवादी धडाम


जय हो

यहाँ अखवारो की अलग दुनिया है !उनकी दुनिया में झांकना मना है ! वे कुछ भी करे ... अखवारो के मालिको के भले के लिए भले ही पत्रकारिता गिरवी पड़ जाय इन्हें इससे कोई मतलब नहीं ! क्या शहर है ... मालिको के लिए विज्ञापन जुटाते इन पत्रकारों को देखेंगे तो ... पत्रकारों के कौम से ही नफरत होने लगेगा ! पर इनके अखवारो में इन्ही पत्रकारों का दुसरा चेहरा साफ़ दिखेगा आपको ! अखवारो की दुनिया में समाजवाद का एक ऐसा चेहरा आपके सामने आयेगा कि बड़े से बड़े समाजवादी धडाम हो जायेंगे ! यानी , हरेक पार्टी और हर नेता से वसूली प्रोग्राम ... नेता का चेहरा छाप कर हो ... शुभकामना सन्देश से लेकर चापलूसी तक ... वसूली प्रोग्राम ! वसूली का हिस्सा भले ही जेब में रह जाए ! अखवारो के इस चरित्र को चैनल वाले भाइयों ने बखूबी अपना लिया ! यहाँ भी अब नेता का शुभकामना सन्देश ... स्क्रोल के लिए ... यहाँ तक की बाईट के लिए भी वसूली अभियान जारी है ! अब देखिये ना देसी दारु के एक ब्रांड के नाम पर चलने वाले चैनल के नए आये मुत्तु जी ने तिकरम भिड़ा दिया है ... मदद के लिए भैय्या जी ... उनका पुराना तिकरम ... सब एकजुट ! इलाके के नेता से लेकर सब ... वसूली करने और कराने के लिए अभी से डेरा डंडा डाल दिया है ! अब संयोग देखिये ... विचित्र शहर के विचित्र न्यूज़ के सम्पादक से यहाँ भी रिश्ता निकल आया ! वसूली का नया रास्ता सम्पादक तलाश रहा है ! पुराने नियम से अब वसूली नहीं करने का प्लान तैयार हो गया है ! अब यहाँ आया फिर अखवार ! मुत्तु भैया के हाथ काफी लम्बे हैं भले ही उनसे भी अधिक भैय्या जी का हाथ है ! विधायक से लेकर सांसद तक के कमरे में सीधे पहुँच है जी ! अब खेल शुरू ... देसी बनकर लूटेगा ... लूटकांड ... कलियुगी लूटकांड !

अखवारो के पन्नो पर मय फोटो छपने वाले नेताओं की सूची तैयार ... श्री कृष्णापुरी का मामला शर्मा जी के हाथ ... टुकड़ा मिलेगा ! अब भैया एकदम मैदान साफ़ है रोकटोक करनेवाला कौन है ... चेहरा दिखाने से पहले रेट लिस्ट ... पैनल वाला ... सीधे ... या बाईट ... अलग रेट ... नो कमीशन ... डाइरेक्ट कान्टेक्ट ! मौक़ा भी है और माहौल भी ! चुनाव में इस बार बैतरनी पार नहीं किया तो ... ? 
जय हो